तकनीक की मदद चिकित्सा क्षेत्र में बेहतर सुविधाएं देने के प्रयास में, आईआईटी-कानपुर व एसजीपीजीआई, लखनऊ के प्रोफेसरों ने रेडिएशन थेरेपी के लिए थ्री-डी रोबोटिक मोशन प्लेटफॉर्म विकसित किया है। इस नए आविष्कार से डॉक्टरों को जल्द ही कैंसर के मरीजों के पेट के ऊपरी हिस्से या वक्ष क्षेत्र में रेडिएशन में मदद करने के लिए फेफड़ों की गति की नकल की सुविधा मिल जाएगी।
रिपोर्ट के अनुसार, वर्तमान में उपयोग में आने वाले मंहगे विदेशी उपकरणों की जगह इस नए मॉडल को बाज़ार में लाने के प्रयास चल रहे हैं। यह नया थ्री-डी रोबोटिक मोशन प्लेटफॉर्म न केवल भारत में निर्मित है, बल्कि मौजूदा सिस्टम या उत्पादों की तुलना में अधिक उन्नत भी है।
इस अत्याधुनिक प्लेटफॉर्म से कैंसर के इलाज में मिलेगी मदद
Prof. Ashish Dutta @IITKanpur in association with Prof. K. J. Maria Das, SGPGI, Lucknow, has developed a programmable robotic motion platform for the quality assurance of respiratory motion management techniques in radiation therapy. #MakeInIndia #AatmaNirbharBharat pic.twitter.com/w8KYCY1TWX
— Abhay Karandikar (@karandi65) July 22, 2021
आईआईटी-कानपुर के प्रोफेसर आशीष दत्ता और SGPGI, लखनऊ के प्रोफेसर के.जे. मारिया दास ने रेडिएशन थेरेपी में श्वसन गति प्रबंधन तकनीकों (respiratory motion management techniques) के गुणवत्ता आश्वासन के लिए एक अत्याधुनिक रोबोटिक मोशन प्लेटफॉर्म विकसित किया है। रिपोर्ट के अनुसार, उत्पाद को विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग, भारत सरकार के उन्नत विनिर्माण प्रौद्योगिकी कार्यक्रम (Advanced Manufacturing Technologies program) के समर्थन से विकसित किया गया था। वर्तमान में इस मशीन का लखनऊ के SGPGI में अंतिम दौर के परीक्षण से गुजर रही है।
आईआईटी कानपुर के निदेशक अभय करंदीकर ने कैंसर के इलाज के लिए रोबोट प्लेटफॉर्म के स्वचालन (automation), अनुकूलन (customisation) और दक्षता (efficiency) के लाभों पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा कि यह मॉडल डॉक्टरों को कैंसर रोगियों के फेफड़ों की गति पर नज़र रखने के साथ मरीज को केंद्रित रेडिएशन देने में मदद करेगा।
इस नयी प्रणाली द्वारा किसी रोगी के फेफड़ों की गति का सिमुलेशन करके और फिर रेडिएशन के वितरण को ट्यूमर पर ही फोकस किया जा सकता है ताकि उस पर हलके डोज से भी अधिकतम प्रभाव पढ़ सके। मरीज पर उपयोग करने से पूर्व रेडिएशन की सटीकता एक रोबोटिक फैंटम पर जांचना ज़रूरी होता है।
नया उत्पाद विदेशों से आयात किए जाने वाले अन्य उत्पादों की तुलना में अधिक किफायती है। इस मशीन से श्वास लेने के दौरान एक मानव के फेफड़े जैसी गति पैदा की जा सकती है। इसका उपयोग यह जांचने के लिए भी किया जा सकता है कि रेडिएशन सही जगह पर दिया जा रहा है या नहीं।
इस प्लेटफॉर्म की कार्यप्रणाली इतनी गतिशील है कि यह सांस लेने के अलावा 3 स्वतंत्र स्टेपर मोटर सिस्टम का उपयोग करके 3डी ट्यूमर गति की नकल कर सकता है। इससे कैंसर रोगियों में रेडिएशन थेरेपी की सटीकता को बढ़ाने में मदद मिलेगी। यह अत्याधुनिक सरल डिजाइन देश के चिकित्सा व्यवस्था को उन्नत बनाने की दिशा में नया कदम है।